लोकसभा सदन में भारत रत्न बाबा साहब डॉ० भीमराव अंबेडकर जी पर की गयी आपत्ति व अपमानजनक टिप्पणी को लेकर गृह मंत्री अमित शाह के इस्तीफे और उनकी सार्वजनिक माफी मांगने की मांग को लेकर कांग्रेस जिला अध्यक्ष डॉ.नीरज त्रिपाठी के नेतृत्व में सैकड़ो पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं ने कांग्रेस कार्यालय से जुलूस की शक्ल मे अम्बेडकर चौराहे पर बाबा साहब डॉ.भीमराव अंबेडकर जी की मूर्ति के सामने पहुंचकर हाथ में बाबा साहब की फोटो लिए अमित शाह इस्तीफा दो-इस्तीफा दो, अमित शाह माफी मांगो-माफी मांगो, बाबा साहब का अपमान, नहीं सहेगा हिंदुस्तान जैसे नारे लगाते हुए नगर कोतवाल सहित भारी पुलिस फोर्स के उपस्थिति में जोरदार विरोध प्रदर्शन किया गया l
17 दिसंबर, 2024 को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने भारत रत्न बाबा साहब डॉ० भीमराव अम्बेडकर जी के बारे में राज्यसभा में बेहद आपत्ति व अपमानजनक टिप्पणी की है। ये टिप्पणियां न केवल भारत के महानतम नेताओं में से एक अद्वितीय विरासत का अपमान हैं, बल्कि उन करोड़ों भारतीयों का भी घोर अपमान है, जो उन्हें भारतीय संविधान के निर्माता और सामाजिक न्याय के प्रणेता के रूप में पूजते हैं।
निवर्तमान जिला अध्यक्ष डॉ.नीरज त्रिपाठी ने कहा कि केन्द्र व प्रदेश की सरकार शुरू से ही देश के महान स्वतंत्रता सेनानियों, क्रांतिकारी और पूजनीय नेताओं व शहीदों का अपमान करती रही है इस सरकार के लोग शुरू से ही आजादी के पहले से अंग्रेजों के अनुयाई रहे हैं और उन्हीं के सिद्धांतों पर चलते हुए संविधान की धज्जियां उड़ा रहे हैं और देश में तानाशाही चल रही है कांग्रेस का एक-एक कार्यकर्ता अपने नेतृत्व के निर्देश पर इन जन विरोधी ताकतों का पुरजोर तरीके से विरोध करेगा और इन्हें हटाकर ही दम लेगा l
कांग्रेस सेवादल के प्रदेश उपाध्यक्ष प्रेम शंकर द्विवेदी व सेवादल जिला अध्यक्ष महेंद्र शुक्ला ने संयुक्त रूप से कहा कि बीजेपी सरकार में जिस तरह से लोकतंत्र को कुचलने और संविधान को बदलने का काम लगातार हो रहा है,यह निंदनीय है और देश को अपमानित करने का काम बीजेपी कर रही है ,जिसको किसी भी हाल में हम कांग्रेसजन बर्दाश्त नहीं करेंगे।कांग्रेस का एक-एक कार्यकर्ता अपने अंतिम सांस तक संविधान की रक्षा की लड़ाई लड़ता रहेगा।
महिला कांग्रेस अध्यक्ष सरोज कश्यप व अनुसूचित जाति विभाग के जिला अध्यक्ष सुरेश कुमार सरोज ने कहा कि इस तरह के बयान बेहद अपमानजनक हैं, जो हमारे गणतंत्र की नींव को कमजोर करने का एक खतरनाक प्रयास है। डॉ० अंबेडकर समानता, न्याय और हमारे संविधान में निहित लोकतांत्रिक सिद्धांतों के प्रतीक हैं। उनके नाम को कलंकित करने का कोई भी प्रयास इन मूल्यों का अपमान है और हमारे राष्ट्र की सामाजिक सद्भाव के लिए खतरा है।
विरोध प्रदर्शन में मुख्य रूप से वेदांत तिवारी,राम शिरोमणि वर्मा, मीरा देवी, प्रेम शंकर द्विवेदी, डॉ.प्रशांत देव शुक्ला, महेंद्र शुक्ला,प्रधान मुजम्मिल हुसैन, करुण पाण्डेय,राधेश्याम दुबे, त्रिलोकी नाथ पाण्डेय, अशोक सिंह, मो.वसीम, रियाज सुलतान,अनवर हुसैन,चरण सिंह यादव, पृथ्वी राज गौतम, नफीस अहमद, के.के.शुक्ला, राम रतन तिवारी,बी पी त्रिपाठी, सूर्य प्रकाश शुक्ला, इंदरानंद तिवारी, उमेश तिवारी, मो असलम, शहजाद अहमद,सलमान खान, संजय इस्तियाक, अशोक सिंह, अश्वनी उपाध्याय,सुधीर तिवारी, फतेह बहादुर सिंह, अभय किशोर त्रिपाठी,विश्वास सिंह,राजू भाई, मो इदरीशी,सुरेश मिश्रा,अब्दुल रहमान,अवध राज यादव,राम धन यादव, इमरान खान, रवि प्रताप सिंह मुख्य रूप से उपस्थित रहे l