भारत सरकार की साइबर सुरक्षा एजेंसी CERT-In ने Google Chrome और Mozilla Firefox ब्राउजर यूजर्स के लिए चेतावनी जारी की है। एजेंसी ने बताया कि इन ब्राउज़रों के पुराने वर्ज़न में गंभीर सुरक्षा कमजोरियां पाई गई हैं, जिनका फायदा उठाकर हैकर्स यूजर का संवेदनशील डेटा चुरा सकते हैं या उनके डिवाइस में मालवेयर इंस्टॉल कर सकते हैं। इसलिए यूजर्स को तुरंत अपने ब्राउजर अपडेट करने की सलाह दी गई है।
Chrome में पाई गई कमजोरियां
CERT-In ने बताया कि Chrome के Linux वर्जन 141.0.7390.54 और Windows/macOS वर्जन 141.0.7390.54/55 से पुराने वर्जन में कई खतरनाक बग हैं। इनमें WebGPU और Video में heap buffer overflow, Storage और Tab में डेटा लीक, Media और Drmbox में गलत इंप्लीमेंटेशन जैसी खामियां शामिल हैं। इन कमजोरियों का फायदा उठाकर कोई भी रिमोट अटैकर यूजर को मालिशियस वेबसाइट पर भेजकर सिस्टम में कोड चला सकता है और प्राइवेट डेटा तक पहुंच सकता है।

Firefox यूजर्स भी रहें सावधान
Mozilla Firefox के वर्जन 143.0.3 से पुराने और iOS के लिए 143.1 से नीचे वाले वर्जन में भी गंभीर सुरक्षा खामियां पाई गई हैं। इनमें cookie storage का सही आइसोलेशन न होना, Graphics Canvas2D में integer overflow और JavaScript Engine में JIT miscompilation जैसी समस्याएं शामिल हैं। अगर यूजर किसी मालिशियस वेब लिंक पर क्लिक कर देता है तो हैकर्स ब्राउजर और सिस्टम पर कंट्रोल हासिल कर सकते हैं और संवेदनशील डेटा चुरा सकते हैं।
यूजर्स क्या करें
CERT-In ने इन अलर्ट्स को हाई-रिस्क कैटेगरी में रखा है और यूजर्स को तुरंत Chrome और Firefox के लेटेस्ट वर्जन इंस्टॉल करने की सलाह दी है। Google और Mozilla दोनों ने इन खामियों को दूर करने के लिए सिक्योरिटी पैच जारी कर दिए हैं। यूजर्स CERT-In की आधिकारिक वेबसाइट पर जाकर डिटेल्ड वल्नरेबिलिटी नोट्स और पैच लिंक भी देख सकते हैं।









